एक रोज़ उनके दरवाज़े की कुंडी में गुलाब छोड़ कर आयRajat Kumar28 Sep 2022 02:13:23 PMEmotionsएक रोज़ उनके दरवाज़े की कुंडी में गुलाब छोड़ कर आये थेजब हमने हफ्ते भर उनकी गली के बेहद चक्कर लगाये थेएक तूफान ने उस गुलाब को कुंडी हटा कर रास्ते पर फेंकाहमने अपने मेहबूब को ही वो गुलाब पैरों से मसलते देखाRajat Akela Dil Continue Reading... Share on:
वो खिड़की अब खुलती ही नही जिसमे मेरा चाँद दिखता था Rajat Kumar28 Sep 2022 02:11:46 PMEmotionsवो खिड़की अब खुलती ही नही जिसमे मेरा चाँद दिखता था !वो बाज़ार अब नही लगता जिसमे चाँद का ताज़ बिकता था !!उस तवायफ ने भी नाचना छोड़ दिया वजह पूछी गयी तोबोलीवो शख्स ही अब नही आता जो सिर्फ मेरे लिए बहकता था !!Rajat Akela Dil Continue Reading... Share on: