"तू चाँद और मैं सितारा होता Admin सम्मान पर शायरी, प्रेम << ख्वाहिश तो बहुत थी मिलने ... उस पगली को क्या पता जिस म... >> "तू चाँद और मैं सितारा होता,आसमान में एक आशियाना हमारा होता,लोग तुम्हे दूर से देखते,नज़दीक़ से देखने का हक़ बस हमारा होता" Share on: