गुज़रे वो झुलाते हुए झुमका मिरे आगेShayari By 15 Nov 2021 11:19:04 PMMukhammasगुज़रे वो झुलाते हुए झुमका मिरे आगे लॉकेट कभी कंगन कभी छल्ला मिरे आगे रहता है हमेशा ही ये ख़तरा मिरे आगे लड़की मिरे आगे है कि लड़का मिरे आगे [...] Continue Reading... Share on:
कुंजश्क-ओ-दरना ताज़ा-दम लाला कँवल और नस्तरनShayari By 15 Nov 2021 10:39:12 PMMukhammasकुंजश्क-ओ-दरना ताज़ा-दम लाला कँवल और नस्तरन वो बुलबुल-ओ-ताऊस-ओ-गुल वो कौकब और वो यासमन गुल-हा-ए-सद-रंगीं-क़बा मुर्ग़ान-ए-सद-शीरीं-दहन ''गुलशन कहो तुम या चमन है अहल-ए-दिल की अंजुमन [...] Continue Reading... Share on:
इलाज-ए-हिज्र ज़रा और करके देखते हैंShayari By 15 Nov 2021 10:38:38 PMMukhammasइलाज-ए-हिज्र ज़रा और करके देखते हैं नज़ारे हम किसी रश्क-ए-क़मर के देखते हैं ख़ुमार-ए-दीद से हम भी सँवर के देखते हैं ''सुना है लोग उसे आँख भर के देखते हैं [...] Continue Reading... Share on:
न क़ैद-ए-शरअ' बाक़ी है न आज़ादी की है कुछ हदAdmin20 Jan 2020 06:47:18 PMMukhammasन क़ैद-ए-शरअ' बाक़ी है न आज़ादी की है कुछ हद नहीं कुछ गुफ़्तुगू इस बाब में ये नेक है या बद बुज़ुर्गों का भी फ़तवा है कि पढ़ क़ानून-ए-सर-सय्यद ब-मी सज्जादा-रंगीं कुन गिरत पीर-ए-मुग़ाँ गोयद कि सालिक बे-ख़बर न-बुवद ज़ राह-ओ-रस्म-ए-मंज़िल-हा Continue Reading... Share on: