न रंज-ए-हिजरत था और न शौक़-ए-सफ़र था दिल मेंShayari By 26 Feb 2024 09:56:36 PMSherन रंज-ए-हिजरत था और न शौक़-ए-सफ़र था दिल में सब अपने अपने गुनाह का बोझ ढो रहे थे Continue Reading... Share on:
अपनी सी ख़ाक उड़ा के बैठ रहेShayari By 03 Oct 2023 05:10:05 AMSherअपनी सी ख़ाक उड़ा के बैठ रहे अपना सा क़ाफ़िला बनाते हुए Continue Reading... Share on:
राह आसाँ देख कर सब ख़ुश थे फिर मैं ने कहाShayari By 30 Sep 2023 03:28:36 AMSherराह आसाँ देख कर सब ख़ुश थे फिर मैं ने कहा सोच लीजे एक अंदाज़-ए-नज़र मेरा भी है Continue Reading... Share on:
कभी तमाम तो कर बद-गुमानियों का सफ़रShayari By 19 Jul 2023 11:35:33 PMSherकभी तमाम तो कर बद-गुमानियों का सफ़र किसी बहाने किसी रोज़ आज़मा तो सही Continue Reading... Share on:
मैं अपनी अंगुश्त काटता था कि बीच में नींद आ न जाएShayari By 03 Sep 2022 05:15:50 PMSherमैं अपनी अंगुश्त काटता था कि बीच में नींद आ न जाए अगरचे सब ख़्वाब का सफ़र था मगर हक़ीक़त में आ बसा हूँ Continue Reading... Share on:
एक सफ़र वो है जिस मेंShayari By 03 Apr 2021 01:48:58 PMSherएक सफ़र वो है जिस में पाँव नहीं दिल थकता है Continue Reading... Share on: