दिल जो तोड़ा तो किया कोई बुरा काम नहींजानेमन तेरी मुकम्मल कोई दास्तान नहींजो अधूरा हो मगर फिर भी पूरा लगता होसिवाय इश्क के है ऐसा कोई मुकाम नहींमंजिलों के लिए मरते हैं वो मुसाफिर हीजिनके सर पे आवारगी का इल्ज़ाम नहींकभी छोटी सी एक बात बुरी लगती थीआज कितनी भी बड़ी बात से परेशान नहीं