मरने के नाम से जो रखते थे होठों पे उंगलियां उंगली शायरी, Shayari << तेरी यादें दुःख थे पर्वत >> मरने के नाम से जो रखते थे होठों पे उंगलियां,.अफसोस वही लोग मेरे दिल के कातिल निकले| Share on: