गली के मोड़ पे बच्चों के एक जमघट में By Qita << पास आ के भी फ़ासले क्यूँ ... शाएर हूँ और अमीं हूँ उरूस... >> गली के मोड़ पे बच्चों के एक जमघट में किसी ने दर्द-भरे लय में माहिया गाया मुझे किसी से मोहब्बत नहीं मगर ऐ दिल ये क्या हुआ कि तू बे-इख़्तियार भर आया Share on: