मस्जिद में न जा वाँ नहीं होने का निबाह Admin मुस्कुराने की वजह शायरी, Rubaai << मेहराब-ओ-मुसल्ला और ज़ाहि... मस्जिद को दिया छोड़ रिया ... >> मस्जिद में न जा वाँ नहीं होने का निबाह बे-वज्ह ख़ुसूसियत भी है इस्याँ की गवाह मय-ख़ाने में सिद्दीक़ मुसलमान हैं गब्र क्या जोश-ए-मोहब्बत है कि अल्लाह अल्लाह Share on: