'आशुफ़्ता' अब उस शख़्स से क्या ख़ाक निबाहें By Sher << आ रही है चाह-ए-यूसुफ़ से ... गुम रहोगे कब तक अपनी ज़ात... >> 'आशुफ़्ता' अब उस शख़्स से क्या ख़ाक निबाहें जो बात समझता ही नहीं दिल की ज़बाँ की Share on: