आलम-ए-पीरी में क्या मू-ए-सियह का ए'तिबार By Sher << आसार-ए-रिहाई हैं ये दिल ब... आख़िर इंसान हूँ पत्थर का ... >> आलम-ए-पीरी में क्या मू-ए-सियह का ए'तिबार सुब्ह-ए-सादिक़ देती है झूटी गवाही रात की Share on: