बयान क़िस्सा-ए-बेचारगी किया जाए By Sher << मंज़िलें राह में थीं नक़्... जब चली ठंडी हवा बच्चा ठिठ... >> बयान क़िस्सा-ए-बेचारगी किया जाए जो दिल की रह गई दिल में उसे कहा जाए Share on: