दुनिया बहुत ख़राब है जा-ए-गुज़र नहीं By Sher << साहब ने इस ग़ुलाम को आज़ा... कोई तो फूल खिलाए दुआ के ल... >> दुनिया बहुत ख़राब है जा-ए-गुज़र नहीं बिस्तर उठाओ रहने के क़ाबिल ये घर नहीं Share on: