हिसार-ए-ख़ौफ़-ओ-हिरास में है बुतान-ए-वहम-ओ-गुमाँ की बस्ती By Sher << जब कोई नौजवान मरता है भटक न जाता अगर ज़ात के बय... >> हिसार-ए-ख़ौफ़-ओ-हिरास में है बुतान-ए-वहम-ओ-गुमाँ की बस्ती मुझे ख़बर ही नहीं कि अब मैं जुनूब में या शुमाल में हूँ Share on: