इक अदा इक हिजाब इक शोख़ी By Sher << अपने क़ातिल की ज़ेहानत से... अब्र-ए-नैसाँ की भी झड़ जा... >> इक अदा इक हिजाब इक शोख़ी नीची नज़रों में क्या नहीं होता all, shyness, mischief and coquetry in her lowered glance, are there to see Share on: