इन चराग़ों में तेल ही कम था By Sher << गली से अपनी इरादा न कर उठ... मैं जो कहता हूँ मुझ से दू... >> इन चराग़ों में तेल ही कम था क्यूँ गिला फिर हमें हवा से रहे Share on: