जब फ़िकरों पर बादल से मंडलाते होंगे By Sher << अगर उर्यानी-ए-मजनूँ पे आत... फिरता हूँ अपना नक़्श-ए-क़... >> जब फ़िकरों पर बादल से मंडलाते होंगे इंसाँ घट कर साए से रह जाते होंगे Share on: