जिसे ना-ख़्वाब कहते हैं उसी को ख़्वाब कहते हैं By Sher << मिसाल-ए-चर्ख़ रहा आसमाँ स... है कुछ तो बात 'मोमिन&... >> जिसे ना-ख़्वाब कहते हैं उसी को ख़्वाब कहते हैं तमीज़-ए-ख़ैर-ओ-शर में नुकता-ए-सद-मोतबर क्या है Share on: