ख़ामुशी का सबब नहीं कुछ भी By Sher << ख़ुद्दार ख़ुद-परस्त हैं ज... इश्क़ है मुझ से उसे या कि... >> ख़ामुशी का सबब नहीं कुछ भी मुझ को बस गुफ़्तुगू से नफ़रत है Share on: