किस लिए दावा-ए-ज़ुलेख़ाई By Sher << सुब्ह-दम मुझ से लिपट कर व... नेकी इक दिन काम आती है हम... >> किस लिए दावा-ए-ज़ुलेख़ाई ग़ैर यूसुफ़ नहीं ग़ुलाम नहीं Share on: