किसी लम्हे तो ख़ुद से ला-तअल्लुक़ भी रहो लोगो By Sher << कल हम आईने में रुख़ की झु... उन्हें ख़ुदा का अमल शर्मस... >> किसी लम्हे तो ख़ुद से ला-तअल्लुक़ भी रहो लोगो मसाइल कम नहीं फिर ज़िंदगी भर सोचते रहना Share on: