मशहूर भी हैं बदनाम भी हैं ख़ुशियों के नए पैग़ाम भी हैं By Sher << मेराज-ए-अक़ीदत है कि ता&#... मैं ने सूरज की तरह ख़ुद क... >> मशहूर भी हैं बदनाम भी हैं ख़ुशियों के नए पैग़ाम भी हैं कुछ ग़म के बड़े इनआ'म भी हैं पढ़िए तो कहानी काम की है Share on: