मुअज़्ज़िन ने अज़ाँ दी और वो बुत निकला ख़ुदा हो कर By Sher << मुझे यक़ीं तो बहुत था मगर... मोहब्बत फूल बनने पर लगी थ... >> मुअज़्ज़िन ने अज़ाँ दी और वो बुत निकला ख़ुदा हो कर ख़ुदा की सब नमाज़ों के क़ज़ा होने का वक़्त आया Share on: