नहीं है इंसानियत के बारे में आज भी ज़ेहन साफ़ जिन का By Sher << रफ़्ता रफ़्ता मेरी अल-ग़र... कटती है आरज़ू के सहारे पे... >> नहीं है इंसानियत के बारे में आज भी ज़ेहन साफ़ जिन का वो कह रहे हैं कि जिस से नेकी करोगे उस से बदी मिलेगी Share on: