सो गए सुनते ही सुनते वो दिल-ए-ज़ार का हाल By Sher << क्या बताऊँ कि कितनी शिद्द... मैं तो मिट्टी हो रहा था इ... >> सो गए सुनते ही सुनते वो दिल-ए-ज़ार का हाल जिस को हम समझे थे अफ़्सूँ वही अफ़्साना हुआ Share on: