तीरा-ओ-तार फ़ज़ाओं में जिया हूँ अब तक By Sher << कोई वक़्त बतला कि तुझ से ... दिल मिरा ज़ुल्फ़ सेती छूट... >> तीरा-ओ-तार फ़ज़ाओं में जिया हूँ अब तक निकहत-ओ-नूर के अय्याम की हसरत ही रही Share on: