राह संघर्ष की जो चलता है Admin सूर्य की शायरी, इश्क << एय मेरी जिन्दगी यूँ मुझसे... आप निगाहो से निगाहे ना मि... >> राह संघर्ष की जो चलता है,वो ही संसार को बदलता है।जिसने रातों से जंग जीती है,सूर्य बनकर वही निकलता है’ Share on: