गर अब मिलो मुझसे तो अपनी पलके झुका लेना Admin इजहार की शायरी, दर्द << बस मिट्टी का लिबास ओढ़ने क... रातो की आवारगी की आदत तो ... >> गर अब मिलो मुझसे तो अपनी पलके झुका लेना......नशे मे रहकर इजहार-ए-मोहब्बत करना हमे मंजूर नही है| Share on: