बेपरवाह कुछ यु राहों में चलते रहे Admin प्रेम << कसक प्यार की छुपाये हुए न... वो तो पानी की बूँद है जो ... >> बेपरवाह कुछ यु राहों में चलते रहे ,खुद गिरते खुद ही सँभलते रहे !उनपे हमे थाम लेने का ऐतबार ही तो था,जो पूरे होश में, मदहोश हो फिसलते रहे !!! Share on: