आए कुछ अब्र कुछ शराब आए Admin अज़ाब शायरी, शराब << पी भी जा शैख़ कि साक़ी की... मैं तोड़ लेता अगर वो गुलाब... >> आए कुछ अब्र कुछ शराब आएउस के बाद आए जो अज़ाब आए!अब्र: बादल,अज़ाब: दुख़, संकट, विपदा Share on: