बारहा तुझ से कहा था मुझे अपना न बना अब मुझे छोड़ के दुनिया में तमाशा न बना इक यही दुख मिरे मरने के लिए काफ़ी है जैसा तू चाहता था मुझ को मैं वैसा न बना एक बात और पते की मैं बताऊँ तुझ को आख़िरत बनती चली जाएगी दुनिया न बना जान से जाएँगे हम दोनों ही तू भी मैं भी मैं तो कहता था मेरी जाँ मुझे अपना न बना ये ख़ुदा बन के रिआ'यत नहीं करते हैं 'वसी' हुस्न वालों को कभी क़िबला-ओ-काबा न बना