दर्द-ए-फ़िराक़ दिल से जुदा हो तो जानिए इस का इलाज इस की दवा हो तो जानिए गो नामा-बर को नाज़ है अपने बयान पर पैग़ाम-ए-शौक़ उस से अदा हो तो जानिए दर्द-ए-फ़िराक़ हद से गुज़र कर ठहर गया कम हो तो जानिए जो सिवा हो तो जानिए क्या आप पूछते हैं मिरे दिल का माजरा ऐसी ही आप पर भी जफ़ा हो तो जानिए जो ग़म मुझे हैं आप उन्हें ऐ जनाब-ए-'नूह' क्या जानिए दिल उस को दिया हो तो जानिए