देखो भाई ऐसा है By Ghazal << दिन के सीने पे शाम का पत्... बुरा ही क्या था जो आप अपन... >> देखो भाई ऐसा है ये दिल दर्पन जैसा है मत कहना पत्थर हम को ये दिल मोम के जैसा है मेरा लहजा मत पूछो 'मीर'-ओ-'ग़ालिब' जैसा है ज़ालिम हम से पूछ रहा दर्द तुम्हारा कैसा है शोहरत तलवे चाटेगी पास में जिस के पैसा है Share on: