दुनिया का वबाल भी रहेगा By Ghazal << रक़ाबतों की तरह से हम ने ... हिक़ारत से न देखो दिल को ... >> दुनिया का वबाल भी रहेगा कुछ अपना ख़याल भी रहेगा शोलों से तुझे गुज़ार देंगे हम से ये कमाल भी रहेगा बाँहों में सिमट के हुस्न तेरा कुछ देर निढाल भी रहेगा ऐ जान तुझे ख़राब कर के थोड़ा सा मलाल भी रहेगा मुझ को तिरी नाज़ुकी का एहसास दौरान-ए-विसाल भी रहेगा Share on: