हाल-ए-दिल बद से बद-तर हुआ देखिए आप का काम है देखना देखिए वो जो रक्खा हुआ है जहाँ के लिए आप ख़ुद भी तो वो आइना देखिए अक़्ल वालों की इमदाद के वास्ते जाँ-ब-कफ़ है कोई सर-फिरा देखिए शहर जल बुझ गया लोग मर कब गए सुब्ह-ए-नौ कल नया हादिसा देखिए इस तमाशा-ए-अहल-ए-सियासत को आप देख सकते हैं बस बारहा देखिए अपने औसान खोती ज़मीं ही नहीं आसमाँ को भी मरता हुआ देखिए एक हालत है दिल की कुछ ऐसी भी जब ख़ुद को मुमकिन है ख़ुद से जुदा देखिए जल्वा-फ़रमा है जो अपने अंदर उसे दम-ब-दम देखिए जा-ब-जा देखिए एक दूजे से उक्ता गए आदमी इन से उकताएगा कब ख़ुदा देखिए शिद्दत-ए-ग़म है मैं भी हूँ प्यासा 'अमर' आस पास अब कोई मै-कदा देखिए