इंसान हों तो क़ौम के ग़म-ख़्वार भी रहें ज़िंदा तमाम लोगों के किरदार भी रहें सेहत अगर है ठीक तो बच्चे न आएँगे माँ बाप को ये चाहिए बीमार भी रहें सब की क़लम से माँग है ले आए इंक़लाब अब रौशनाई में तिरी अंगार भी रहें दरिया में जो भी डूबे उबरने न पाए वो लहरों के साथ साथ ही मंजधार भी रहें जिन को वतन से प्यार है उन से बसे ये मुल्क कुछ लोग कह रहे हैं कि ग़द्दार भी रहें हालाँकि हादसों पे इकट्ठा तो होगी भीड़ मुमकिन कहाँ है इन में मदद-गार भी रहें 'सरीता' गली गली में तो बाज़ार सज गए सरकार चाहती है ख़रीदार भी रहें