इश्क़-जाई कहाँ से आई है ये जुदाई कहाँ से आई है जब गई थी जवान लड़की थी बूढ़ी माई कहाँ से आई है मैं निकम्मा हूँ मानता भी हूँ कामयाबी कहाँ से आई है इस मोहब्बत को ख़ुद ही छोड़ा था जा चुकी थी कहाँ से आई है मैं तुम्हारे बग़ैर मर जाऊँ इतनी हस्ती कहाँ से आई है इश्क़ करती है तू नमाज़ों से नेक लड़की कहाँ से आई है बे-वफ़ा है 'वक़ास-यूसुफ़' बस साफ़ सुथरी कहाँ से आई है