मिरी बे-ज़बानी ज़बाँ हो न जाए निहाँ है जो दिल में अयाँ हो न जाए वो मुझ पर कहीं मेहरबाँ हो न जाए मता-ए-सुकूँ राएगाँ हो न जाए सितारों से आगे क़दम रखने वालो ज़मीन-ए-सितम आसमाँ हो न जाए कहीं मेरी रूदाद-ए-दर्द-ए-मोहब्बत मिरी जाँ तिरी दास्ताँ हो न जाए मिरी जुरअत-ए-अर्ज़ हुस्न-ए-तमन्ना कहीं उन के दिल पर गराँ हो न जाए अदावत मज़ालिम तसादुम से 'वारिस' जहन्नुम पे जन्नत-निशाँ हो न जाए