अच्छी उर्दू प्यारी उर्दू कुछ देर तो मुझ से बात करो जो नील गगन से आई हो तो रौशन मेरी रात करो जो कोमल सुंदर लड़की हो तो दिल अपना सौग़ात करो जो बाज़ी रक्खो चाहत की तुम जीतो हम को मात करो इन फीके फीके लफ़्ज़ों पर सब बेजा ख़ूब अकड़ते हैं सब जानते हैं तुम बोलती हो तो फूल लबों से झड़ते हैं सब अपने अधूरे जुमलों में ये हीरे मोती जड़ते हैं सब तुम से आँख मिलाते हैं सब पाँव तुम्हारे पड़ते हैं हम ने तो यही देखा है यहाँ जो तुम ने कहा वो रीत बना हम ने तो यही समझा है यहाँ सर तुम ने दिए संगीत बना हम ने तो यही जाना है यहाँ तुम से ही कोई मन मीत बना नज़्मों ने हमें चूमा बढ़ कर और मीठा सच्चा गीत बना लेकिन ये तुम्हारी क़िस्मत है हात आई है ऐसी तन्हाई फिरती हो कहीं मारी मारी जो मिलता है सो हरजाई हर रोज़ के धोके राहों में हर रोज़ जबीं पर रुस्वाई हर रोज़ ज़रा सी ख़ुश-फ़हमी हर रोज़ की महफ़िल-आराई जब दुनिया के इन मेलों से थक जाओ तो मिरे पास आना जब औरों की बाँहों से कभी उक्ताओ तो मिरे पास आना मैं बढ़ कर नज़्र उतारुंगी घबराओ तो मेरे पास आना मरहम से नहीं भर पाए अगर ये घाव तो मेरे पास आना अच्छी उर्दू प्यारी उर्दू अच्छी उर्दू प्यारी उर्दू