एक मोहब्बत By Nazm << एक मोर एक लड़की ने आईना देखा >> जीवन इक बे-अंत सफ़र है दुनिया एक पराया घर है उस घर के कोने खुदरों में हम ने अपने ख़्वाब जमाए बादल बोए दरिया पाए दुख झेले और सुख फैलाए धरती से आकाश को जोड़ा इक मोहब्बत दिल में रक्खी सारी उम्र उदासी चक्खी Share on: