मैं तो भूला नहीं तुम भूल गई हो मुझ को By हसरत, Qita << न ख़ुदा है न नाख़ुदा साथी साक़िया एक जाम पीने से >> मैं तो भूला नहीं तुम भूल गई हो मुझ को ख़ैर गर तुम भी नहीं हो मिरे ग़म-ख़्वारों में तुम न आओगी तो क्या अब नहीं आएगी बहार फूल क्या अब न खिलेंगे मिरे गुलज़ारों में Share on: