आती है याद सुब्ह-ए-मसर्रत की बार बार By Sher << अब गर्दिश-ए-दौराँ को ले आ... आलम-ए-कौन-ओ-मकाँ नाम है व... >> आती है याद सुब्ह-ए-मसर्रत की बार बार ख़ुर्शीद आते आते उसे कल उठा तो ला Share on: