चाँद भी हैरान दरिया भी परेशानी में है By Sher << दर-अस्ल इस जहाँ को ज़रूरत... बे-बदन रूह बने फिरते रहोग... >> चाँद भी हैरान दरिया भी परेशानी में है अक्स किस का है कि इतनी रौशनी पानी में है Share on: