इक्का-दुक्का सदा-ए-ज़ंजीर By Sher << मिट जाएगा सेहर तुम्हारी आ... हर इक मकाँ में गुज़रगाह-ए... >> इक्का-दुक्का सदा-ए-ज़ंजीर ज़िंदाँ में रात हो गई है Share on: