झूट पर उस के भरोसा कर लिया By Sher << लहू से मैं ने लिखा था जो ... शहर जब ख़ुद-कफ़ील है साहब >> झूट पर उस के भरोसा कर लिया धूप इतनी थी कि साया कर लिया Share on: