ख़ुशनुमा दीवार-ओ-दर के ख़्वाब ही देखा किए By Sher << मैं ने कल तोड़ा इक आईना त... कमरे में धुआँ दर्द की पहच... >> ख़ुशनुमा दीवार-ओ-दर के ख़्वाब ही देखा किए जिस्म सहरा ज़ेहन वीराँ आँख गीली हो गई Share on: