मैं जीता हूँ देखे से सूरत तुम्हारी By Sher << मैं ने माना आप ने बोसे दि... मय-कदा छोड़ के क्यूँ दैर-... >> मैं जीता हूँ देखे से सूरत तुम्हारी मुझे है निहायत ज़रूरत तुम्हारी Share on: