मेरे चेहरे पे ग़ज़ल लिखती गईं By Sher << पयम्बरों से ज़मीनें वफ़ा ... मता-ए-दिल बहुत अर्ज़ां है... >> मेरे चेहरे पे ग़ज़ल लिखती गईं शेर कहती हुई आँखें उस की Share on: