शाम ख़ामोश है पेड़ों पे उजाला कम है By Sher << शहर तलब करे अगर तुम से इल... जिस को तुम कहते हो ख़ुश-ब... >> शाम ख़ामोश है पेड़ों पे उजाला कम है लौट आए हैं सभी एक परिंदा कम है Share on: