तेरी सूरत निगाहों में फिरती रहे इश्क़ तेरा सताए तो मैं क्या करूँ By Sher << वो हम-सफ़र था मगर उस से ह... ज़ुल्फ़ की शाम सुब्ह चेहर... >> तेरी सूरत निगाहों में फिरती रहे इश्क़ तेरा सताए तो मैं क्या करूँ कोई इतना तो आ कर बता दे मुझे जब तिरी याद आए तो मैं क्या करूँ Share on: