उस गुल-बदन की बू-ए-बदन कुछ न पूछिए By Sher << किसी की याद मनाने में ईद ... किस को ग़म है जो करे मर्स... >> उस गुल-बदन की बू-ए-बदन कुछ न पूछिए बंद-ए-क़बा जो खोल दिए घर महक गया Share on: